
दिव्यराष्ट्र, मुंबई: भारत के नवीकरणीय ऊर्जा क्षेत्र में अग्रणी नाम केपी ग्रुप, 2030 तक 10 गीगावाट क्षमता तक पहुंचने के स्पष्ट लक्ष्य के साथ अपने विस्तार को आगे बढ़ा रहा है। गुजरात में पहले से ही चल रही परियोजनाओं के साथ, यह ग्रुप राजस्थान, मध्य प्रदेश, ओडिशा, आंध्र प्रदेश और महाराष्ट्र में परियोजनाओं पर काम कर रहा है, जिसे मजबूत ऑर्डर बुक और सरकारी साझेदारियों का समर्थन प्राप्त है।
केपी ग्रुप ने 2.6 गीगावाट से अधिक क्षमता वाली नवीकरणीय ऊर्जा परियोजनाओं के लिए गुजरात, ओडिशा, राजस्थान और मध्य प्रदेश के साथ समझौता ज्ञापनों पर हस्ताक्षर किए हैं, साथ ही अन्य राज्यों में नए अवसरों की तलाश भी कर रहा है। यह ग्रुप अब तक 2.05 गीगावाट क्षमता वाली नवीकरणीय ऊर्जा परियोजनाओं को ऊर्जा प्रदान कर चुका है और 3.2 गीगावाट से अधिक के ऑर्डरों की पुष्टि कर चुका है।
केपी ग्रुप के चेयरमैन और प्रबंध निदेशक, डॉ. फारुक जी पटेल ने कहा, “हमारा ध्यान ऊर्जा के भविष्य पर है। भारत में स्वच्छ ऊर्जा की माँग तेज़ी से बढ़ रही है और हम इसे पूरा करने में एक सार्थक भूमिका निभाना चाहते हैं। राज्य सरकारों, खासकर गुजरात, राजस्थान, मध्य प्रदेश और ओडिशा के साथ हमने जो साझेदारियाँ की हैं, वे तो बस एक शुरुआत हैं। हम आंध्र प्रदेश और तमिलनाडु में भी अवसरों का मूल्यांकन कर रहे हैं। जबकि महाराष्ट्र में काम शुरू हो चुका है। हम सौर, पवन और हाइब्रिड परियोजनाओं के ज़रिए 10 गीगावाट की अक्षय ऊर्जा क्षमता को पार करने की राह पर हैं।”
ग्रुप की प्रमुख कंपनी, केपीआई ग्रीन एनर्जी, कच्छ के खावड़ा में गुजरात के सबसे बड़े 645 मेगावाट क्षमता वाले निजी सौर पार्क की मालिक है और इसका संचालन करती है। उल्लेखनीय है कि कंपनी ने अत्याधुनिक सौर ऊर्जा से चलने वाली रिमोट से संचालित रोबोटिक सौर पैनल सफाई प्रणाली लागू की है। इसी तर्ज पर, गुजरात के विभिन्न स्थलों पर 730 से अधिक ऐसे रोबोट तैनात किए गए हैं।