मुंबई, 06 जनवरी 2024: टाटा एसेट मैनेजमेंट ने चार नयी स्कीम लॉन्च करने की घोषणा की हैं जिनमें से दो एक्सचेंज ट्रेडेड फंड (ईटीएफ) और दो फंड ऑफ़ फंड (एफओएफ) हैं:
- टाटा गोल्ड ईटीएफ एक ओपन एंडेड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड है जो सोने की घरेलु कीमत को रेप्लिकेट/ट्रैक करता है। एनएफओ 02 जनवरी 2024 से 09 जनवरी 2024 तक खुला रहेगा।
- टाटा गोल्ड ईटीएफ फंड ऑफ़ फंड एक ओपन एंडेड फंड ऑफ़ फंड स्कीम है जो टाटा गोल्ड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड में निवेश करती है। एनएफओ 02 जनवरी 2024 से 16 जनवरी 2024 तक खुला रहेगा।
- टाटा सिल्वर ईटीएफ एक ओपन एंडेड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड है जो चांदी की घरेलु कीमत को रेप्लिकेट/ट्रैक करता है। एनएफओ 02 जनवरी 2024 से 09 जनवरी 2024 तक खुला रहेगा।
- टाटा सिल्वर ईटीएफ फंड ऑफ़ फंड एक ओपन एंडेड फंड ऑफ़ फंड स्कीम है जो टाटा सिल्वर एक्सचेंज ट्रेडेड फंड में निवेश करती है। एनएफओ 02 जनवरी 2024 से 16 जनवरी 2024 तक खुला रहेगा।
आपके पोर्टफोलियो में विविधता लाने और उसे लंबे समय तक स्थिर बनाए रखने के लिए एक बेहतरीन नीति प्रस्तुत करने का लक्ष्य रखते हुए सोने और चांदी में निवेश किया जाता है। मुद्रा अवमूल्यन, महंगाई और बाजार की अनिश्चितताओं के खिलाफ सोना बचाव कर सकता है, साथ ही इसकी कमी और पहले से एक सुरक्षित निवेश माना जाने की वजह से सोना आपको संपत्ति को प्रभावी ढंग से संरक्षित करने में मदद करता है। दूसरी ओर चांदी की आपूर्ति की कमी होते हुए भी, ईवी प्रौद्योगिकी और हरित ऊर्जा जैसे उद्योगों में चांदी की बढ़ती मांग, इसकी कीमतों में संभावित वृद्धि का संकेत देती है। चांदी ज़्यादातर एक उप-उत्पाद है, इसकी कमी और बढ़ते औद्योगिक उपयोग की वजह से यह एक आकर्षक निवेश बना है।
लेनदेन की कम लागत, ज़्यादा लिक्विडिटी और कम एक्सपेंस रेशो आदि विशेषताओं वाले संपत्ति वर्ग के रूप में सोने और चांदी में निवेश करने के अवसर यह फंड निवेशकों को प्रस्तुत करेंगे।
लॉन्च के अवसर पर टाटा एसेट मैनेजमेंट में इंस्टिट्यूशनल क्लाइंट्स, बैंकिंग, अल्टरनेट इन्वेस्टमेंट्स और प्रोडक्ट स्ट्रैटेजी के बिज़नेस हेड श्री आनंद वरदराजन ने कहा, “जब जोखिम पता न हो तब विविधता लाएं। अगर जोखिम पता है तो उससे बचिए। सोने और चांदी जैसे मूल्यवान धातु निवेशकों को जोखिम से बचने में मदद करते हैं और पोर्टफोलियो में विविधता भी लाते हैं। इससे महंगाई और मुद्रा में उतारचढ़ाव से बचने की क्षमता मिलती है, साथ ही, अलग ढंग से सह-संबंधित होने की वजह से इक्विटी और डेट मार्केट्स की अनिश्चितताओं से बचने की जगह भी यहां मिल जाती है। अधिकांश सोना ज़मीन के ऊपर है और सिर्फ थोड़ा ही बाहर निकाला जाना बाकी है, यह बात अगर सच है तो सोना एक मूल्यवान परिसंपत्ति वर्ग है। सीमित आपूर्ति और बढ़ती मांग की वजह से सोना निवेश पोर्टफोलियो में होना ही चाहिए।
चांदी का आभूषणों, सजावट में और औद्योगिक उपयोग भी होता है। कई नए उद्योगों में चांदी का काफी ज़्यादा उपयोग किया जा रहा है और आश्चर्य की बात नहीं है कि इसे राइजिंग मेटल माना जा रहा है। निवेशक के पोर्टफोलियो में सोना और चांदी दोनों विविधीकरण का संतुलन और बचाव प्रदान करते हुए एक बढ़िया आवंटन साबित हो सकते हैं।”
चारों फंडों के बारे में विवरण नीचे दिया गया है:
फंड 1:
स्कीम का नाम | टाटा गोल्ड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड |
एनएफओ दिनांक | 2 जनवरी 2024 – 9 जनवरी 2024 |
जिस दिन या जिस दिन से पहले स्कीम फिर से खुलेगी | 17 जनवरी 2024 |
निवेश उद्देश्य | फंड का निवेश उद्देश्य घरेलू कीमतों में फिज़िकल सोने के प्रदर्शन के अनुरूप रिटर्न दिलाना है, लेकिन यह ट्रैकिंग त्रुटि के अधीन है। इस बात का कोई आश्वासन या गारंटी नहीं है कि योजना का निवेश उद्देश्य हासिल किया जाएगा। |
स्कीम का प्रकार | सोने की घरेलू कीमत रेप्लिकेट/ट्रैक करने वाला ओपन-एंडेड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड |
फ़ंड प्रबंधक | तपन पटेल |
बेंचमार्क | सोने की घरेलू कीमत |
क्रिएशन यूनिट का आकार | 10,50,000 यूनिट |
ईटीएफ प्रति यूनिट मूल्य | 1 यूनिट = 1 मिलीग्राम सोने की कीमत |
न्यूनतम निवेश राशि (एनएफओ के दौरान) | रु. 100/- और उसके बाद 1/- रुपए के गुणक में |
लोड संरचना | एंट्री लोड: एन.ए. |
फंड 2:
स्कीम का नाम | टाटा गोल्ड ईटीएफ फंड ऑफ फंड |
एनएफओ दिनांक | 2 जनवरी 2024 – 16 जनवरी 2024 |
जिस दिन या जिस दिन से पहले स्कीम फिर से खुलेगी | 24 जनवरी 2024 |
निवेश उद्देश्य | योजना का निवेश उद्देश्य टाटा गोल्ड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड द्वारा प्रदान किए गए रिटर्न के अनुरूप रिटर्न प्रदान करना है। लेकिन, इस बात का कोई आश्वासन या गारंटी नहीं है कि योजना का निवेश उद्देश्य हासिल किया जाएगा। |
स्कीम का प्रकार | ओपन-एंडेड फंड ऑफ फंड योजना जो टाटा गोल्ड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड में निवेश करती है। |
फ़ंड प्रबंधक | तपन पटेल |
बेंचमार्क | सोने की घरेलू कीमत |
न्यूनतम निवेश राशि (एनएफओ के दौरान) | रु. 5,000/- और उसके बाद 1/- रुपये के गुणक में |
लोड संरचना | एंट्री लोड: एन.ए. एग्जिट लोड: आवंटन की तारीख से 365 दिन पूरे होने पर या उससे पहले रिडेम्पशन/स्विच-आउट/एसडब्ल्यूपी/एसटीपी: यदि निकासी राशि या स्विच आउट राशि निवेश की मूल लागत के 12% से अधिक नहीं है – आवंटन की तारीख से 365 दिन पूरे होने पर या उससे पहले शून्य रिडेम्पशन/स्विच-आउट/एसडब्ल्यूपी/एसटीपी: यदि निकासी राशि या स्विच आउट राशि निवेश की मूल लागत का 12% से अधिक है -1% आवंटन की तारीख से 365 दिन पूरे होने पर रिडेम्पशन/स्विच- आउट/एसडब्ल्यूपी/एसटीपी – शून्य |
फंड 3:
स्कीम का नाम | टाटा सिल्वर एक्सचेंज ट्रेडेड फंड |
एनएफओ दिनांक | 2 जनवरी 2024 – 9 जनवरी 2024 |
निवेश उद्देश्य | फंड का निवेश उद्देश्य घरेलू कीमतों में फिज़िकल चांदी के प्रदर्शन के अनुरूप रिटर्न दिलाना है, हालांकि यह ट्रैकिंग त्रुटि के अधीन है। इस बात का कोई आश्वासन या गारंटी नहीं है कि योजना का निवेश उद्देश्य हासिल किया जाएगा। |
स्कीम का प्रकार | चांदी की घरेलू कीमत रेप्लिकेट/ट्रैक करने वाला एक ओपन-एंडेड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड |
फ़ंड प्रबंधक | तपन पटेल |
बेंचमार्क | चांदी की घरेलू कीमत |
यूनिट का आकार | 300,000 |
ईटीएफ का एक यूनिट | 100 मिलीग्राम चांदी की कीमत |
न्यूनतम निवेश राशि (एनएफओ के दौरान) | एनएफओ अवधि के दौरान रु. 100/- और उसके बाद 1/- रुपये के गुणक में |
लोड संरचना | एंट्री लोड: एन.ए. |
फंड 4:
स्कीम का नाम | टाटा सिल्वर ईटीएफ फंड ऑफ फंड |
एनएफओ दिनांक | 2 जनवरी 2024 – 16 जनवरी 2024 |
निवेश उद्देश्य | योजना का निवेश उद्देश्य टाटा सिल्वर एक्सचेंज ट्रेडेड फंड द्वारा प्रदान किए गए रिटर्न के अनुरूप रिटर्न प्रदान करना है। लेकिन, योजना का निवेश उद्देश्य हासिल किया जाएगा, इस का कोई आश्वासन या गारंटी नहीं है। |
स्कीम का प्रकार | ओपन-एंडेड फंड ऑफ फंड योजना जो |
फ़ंड प्रबंधक | टाटा सिल्वर एक्सचेंज ट्रेडेड फंड में निवेश करती है। |
बेंचमार्क | तपन पटेल |
न्यूनतम निवेश राशि (एनएफओ के दौरान) | चांदी की घरेलू कीमत |
लोड संरचना | एंट्री लोड: एन.ए. एग्जिट लोड: आवंटन की तारीख से 365 दिन पूरे होने के बाद या उससे पहले रिडेम्पशन/स्विच-आउट/एसडब्ल्यूपी/एसटीपी: यदि निकासी राशि या स्विच आउट राशि निवेश की मूल लागत का 12% से अधिक नहीं है। – आवंटन की तारीख से 365 दिन पूरे होने के बाद या उससे पहले शून्य रिडेम्पशन/स्विच-आउट/एसडब्ल्यूपी/एसटीपी : यदि निकासी राशि या स्विच आउट राशि निवेश की मूल लागत का 12% से अधिक है – 1% आवंटन की तारीख से 365 दिनों की समाप्ति के बाद रिडेम्पशन/स्विच-आउट/एसडब्ल्यूपी/एसटीपी – शून्य |